Wednesday 31 October 2012

चुंबन के समय पुरूष ऎसा सोचते हैं

चुंबन के समय पुरूष ऎसा सोचते हैं
चुंबन दो लोगों के बीच देह की खामोश भाषिक अभिव्यक्ति है। हमारे यहां चुंबन को सेक्स से जो़ड कर देखते हैं। इसके पीछे एक ठोस कारण यह है कि कामसूत्र में चुंबनक्रिया को प्यार करने का एक पुख्ता तरीका बताया गया है। कामसूत्र में कहा गया है कि पुरूष और स्त्री इस क्रिया से एक दूसरे के नज़दीक आते है। यह चुंबन बंद कमरे में पुरूष और स्त्री के बीच का है। पर क्या आपने कभी सोचा है कि चुंबन पुरूषों के अंदर यह भाव होता है कि वे अपनी पार्टनर की अपेक्षा बेहतर तरीके से चुंबन ले सकते हैं। इस मामले में पुरूष थोडा घमंड में भी रहते हैं कि उनके साथी को उनसे अच्छा कोई मिल ही नहीं सकता।पुरूषों के अंदर यह भाव होता है कि वे अपनी पार्टनर की अपेक्षा बेहतर तरीके से चुंबन ले सकते हैं। इस मामले में पुरूष थोडा घमंड में भी रहते हैं कि उनके साथी को उनसे अच्छा कोई मिल ही नहीं सकता।पुरूषों के अंदर यह भाव होता है कि वे अपनी पार्टनर की अपेक्षा बेहतर तरीके से चुंबन ले सकते हैं।
 
 इस मामले में पुरूष थोडा घमंड में भी रहते हैं कि उनके साथी को उनसे अच्छा कोई मिल ही नहीं सकता।के समय पुरूष क्या सोचते है।पुरूष जब चुंबन में लीन रहते हुए सोचते हैं कि, अब देर न करते हुए जल्दी से बिस्तर पर कामक्रिया की शुरूआत हो। इसी वजह से चुंबन लेते समय वे अपने साथी के हर उत्तेजित कर देने वाले अंगों को स्पर्श करते है, जिससे वो संभोग के लिए तैयार हो सके।चुंबन संभोग की शुरूआत होती है के दौरान पुरूष के मन में हमेशा चलता रहता है, कि इसके बाद वे संभोग जरूर करेंगे।
 
 कई बार चुंबन को वो सिर्फ एक फॉर्मेलिटी के रूप में लेते हैं। यही कारण है कि पुरूष ज्यादा देर तक चुंबन नहीं ले पाते हैं।चुंबन करने के कई तरीके होते हैं, लेकिन पुरूष जब चुंबन करने की शुरूआत करते समय बिल्कुल नहीं सोचते हैं कि उनकी पार्टनर उस समय कैसा महसूस कर रही है। पुरूष को केवल अपने आनंद की फिक्र होता है।
 
वे अपने साथी की सहजता का ख्याल नहीं रखते।अपने स्वभाव से पुरूष यह साबित करने चाहता है कि वो अपनी पार्टनर को सबसे अधिक प्रेम करते हैं। उनके मन में यह बात होता है कि वह कैसे भी इस बात का अहसास दिला दें कि उनके साथ जो पुरूष है वह तन-मन और धन से हमेशा उसके साथ रहेगा। इस वजह से लिप किस से पहले और बाद में पुरूष अपने साथी के माथे को किस करते हैं।होठों को चूमने के दौरान पुरूष स्त्री की सुंदरता को लेकर भी बहुत कुछ सोचता है। इसी वजह से पुरूष अपनी पार्टनर को यह जताने का प्रयास करता है कि उसकी पार्टनर से सुंदर तो कोई हो ही नहीं सकती। इसलिए वह उसके सभी अंगों को चूमता है।

           
           

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